मूली सलाद में स्वादिष्ट और रोगों से लड़ने की क्षमता मौजूद है। एक नये शोध में पाया गया है कि मूली पाईल्स - बवासीर के लिए कारगर दवा का काम करती है। मूली पीलिया के साथ - साथ पाईल्स के लिए भी अचूक प्राकृतिक दवा है। मूली लगातार सेवन से बवासीर ठीक हो जाती है।
बवासीर के दौरान, मिर्च, मसालों, तली-भुनी, तीखी, चटनी, जंकफूड, फास्टफूड, सोडा ठंडा पेय, शराब, बीयर, धूम्रपान, तम्बाकू का तुरन्त त्याग कर दें। नशीली चीजें पाईल्स-बवासीर को और बढ़ावा देती है।


मूली पाईल्स ठीक करें
मूली रस, पाउडर सेवन विधि
मूली के हरी पत्तियों को सुखाकर पाउडर बना लें। रोज रात को एक गिलास सादे पानी में एक चम्मच मूली पत्तों का पाउडर घोलकर रख लें। उसमें 6-7 किशमिश दानें भिगों दें। सुबह उठकर मूली पाउडर पीनी सेवन करें फिर भिगोये फूले किशमिश सेवन करें। यह बवासीर का अचूक रामबाण दवा है। लगातार करने से पाइल्स बीमारी शीघ्र ठीक हो जाती है।
- बवासीर में सूजन और दर्द से मुक्ति के लिए मूली सलाद रोज खायें, मूली के हरे पत्तों की सब्जी बिना मिर्च - मसाले का सेवन करें। लगातार सेवन से सूजन और दर्द 6-7 दिनों में असर दिखना शुरू हो जाता है।
- रोज सुबह खाली पेट एक गिलास मूली पत्तों का रस सेवन करें। तुरन्त आराम मिलता है। मूली रस पाईल्स ग्रसित जगह के संक्रामण को समाप्त करने की क्षमता मौजूद होती है।
- खूनी बवासीर होने पर सफेद मूली का पेस्ट बना कर ग्रसित घाव जगह पर लगाने से सूजन दर्द से तुरन्त आराम मिलता है।
- मूली को कद्दूकस कर लें, बारीक घिसे हुये मूली में 1 चम्मच शहद के साथ सेवन करें। फिर 1 घण्टे बाद कुछ खायें। लगातार सेवन करें। बवासीर से बड़ी राहत मिलती है।
- पाईल्स मस्से ठीक करने के लिए मूली हरे पत्तियों के रस में चुटकी भर सेंधा नमक मिलाकर सेवन करना फायदेमंद है।
मूली के हरी पत्तियों को सुखाकर पाउडर बना लें। रोज रात को एक गिलास सादे पानी में एक चम्मच मूली पत्तों का पाउडर घोलकर रख लें। उसमें 6-7 किशमिश दानें भिगों दें। सुबह उठकर मूली पाउडर पीनी सेवन करें फिर भिगोये फूले किशमिश सेवन करें। यह बवासीर का अचूक रामबाण दवा है। लगातार करने से पाइल्स बीमारी शीघ्र ठीक हो जाती है।